भारत में UPI पेमेंट के लिए बायोमेट्रिक ऑथेंटिकेशन
भारत में अब UPI प्लेटफ़ॉर्म पर बायोमेट्रिक ऑथेंटिकेशन शुरू किया गया है।
AI ने हमारे काम करने का तरीका बदल दिया है। अब लागत कम करने से लेकर बड़े स्तर पर संचालन तक, हर जगह AI मदद कर रहा है।”
यानि, AI से कंपनियाँ कम कर्मचारियों के साथ अधिक कुशलता से काम कर पा रही हैं।
1. AI और बायोमेट्रिक ऑथेंटिकेशन भारत के डिजिटल पेमेंट सिस्टम में बड़ा बदलाव ला रहे हैं।
2. यह बात ग्लोबल फिनटेक फेस्टिवल 2025 (मुंबई) में कही गई।
3. Pine Labs की प्रमुख तान्या नाइक ने बताया कि AI से काम करने की क्षमता और दक्षता बढ़ी है।
4. AI की मदद से कंपनियाँ कम लागत और कम कर्मचारियों के साथ ज्यादा काम कर पा रही हैं।
5. यह भारत के फिनटेक सेक्टर को तेज़, सुरक्षित और आधुनिक बना रहा है।
भारत बायोमेट्रिक ऑथेंटिकेशन शुरू किया गया है।
भारत में शुरू हुआ बायोमेट्रिक UPI ऑथेंटिकेशन — अब पेमेंट होगा चेहरे या फिंगरप्रिंट से
ग्लोबल फिनटेक फेस्टिवल 2025 (मुंबई) भारत के डिजिटल पेमेंट इतिहास का एक अहम पड़ाव साबित हुआ।
इस कार्यक्रम में UPI (यूनिफाइड पेमेंट्स इंटरफेस) पर बायोमेट्रिक ऑथेंटिकेशन फीचर की आधिकारिक शुरुआत की गई।
8 अक्टूबर से नया सिस्टम लागू
अब उपयोगकर्ता फिंगरप्रिंट या फेस रिकग्निशन के माध्यम से अपने UPI ट्रांजैक्शन को ऑथेंटिकेट कर सकेंगे। इससे हर बार पिन डालने की आवश्यकता खत्म हो जाएगी। यह सिस्टम आधार डेटा से जुड़ा हुआ है, जिससे पहचान की पुष्टि बायोमेट्रिक तरीके से की जाएगी।
NPCI और RBI की संयुक्त पहल
यह सुविधा NPCI (नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया) द्वारा पेश की गई है, जो भारत में डिजिटल पेमेंट्स को संचालित करता है।
यह कदम भारतीय रिज़र्व बैंक (RBI) के नए दिशा-निर्देशों के तहत उठाया गया है, जिनमें पारंपरिक पिन के अलावा अन्य सुरक्षित ऑथेंटिकेशन तरीकों की अनुमति दी गई है।
AI और नई तकनीक का योगदान
कार्यक्रम में मौजूद Pine Labs की हेड ऑफ ऑनलाइन एंड ओम्नी चैनल बिजनेस तान्या नाइक ने कहा —
मैंने बायोमेट्रिक ऑथेंटिकेशन से जुड़ी कई शानदार लॉन्च देखीं, चाहे वो UPI पर हों या कार्ड्स पर — और मुझे लगता है यही भविष्य की दिशा है।
उन्होंने बताया कि यह तकनीक जल्द ही Pine Labs के व्यापारी नेटवर्क के लिए भी उपलब्ध होगी।
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क्या है फायदा?
अब भुगतान होगा तेज़, आसान और अधिक सुरक्षित
पिन याद रखने की जरूरत नहीं
चेहरे या उंगलियों के निशान से ही भुगतान की मंजूरी
आधार आधारित पहचान से अधिक भरोसेमंद सत्यापन
धोखाधड़ी और फिशिंग के मामलों में कमी
भारत की डिजिटल यात्रा में नया अध्याय
यह लॉन्च भारत के डिजिटल भुगतान सिस्टम को स्मार्ट, सुरक्षित और भविष्य के अनुरूप बनाने की दिशा में बड़ा कदम है।
बायोमेट्रिक ऑथेंटिकेशन से अब डिजिटल ट्रांजैक्शन और भी सहज, पारदर्शी और सुरक्षित होंगे — जो डिजिटल इंडिया मिशन के विज़न को और मज़बूती देंगे।
Pine Labsने UPI पर क्रेडिट लाइन को अगले विकास चालक के रूप में चिन्हित किया
भारत में Pine Labs ने “Credit Line on UPI” को अगला बड़ा विकास इंजन बताया
भारत के लेंडिंग सेक्टर में नई क्रांति
भारत के तेजी से बढ़ते डिजिटल लेंडिंग सेक्टर के बीच, Pine Labs ने “Credit Line on UPI” (CLOU) को भविष्य में क्रेडिट-लिंक्ड पेमेंट्स का सबसे बड़ा विकास-चालक (growth driver) बताया है।
यह घोषणा ग्लोबल फिनटेक फेस्टिवल 2025 में की गई, जहां दुनिया भर के 75 देशों से 1 लाख से अधिक प्रतिभागी शामिल हुए। इस वर्ष का थीम था —
Empowering Finance for a Better World Powered by AI
(कृत्रिम बुद्धिमत्ता द्वारा सशक्त वित्तीय दुनिया का निर्माण)
रिपोर्ट के मुख्य निष्कर्ष
Pine Labs और McKinsey की संयुक्त रिपोर्ट के अनुसार —
भारत में लगभग 33 करोड़ लोग क्रेडिट लेने के योग्य हैं, लेकिन उनमें से 15 से 20 करोड़ लोग अभी भी बैंकिंग या क्रेडिट सिस्टम से बाहर हैं।
CLOU (Credit Line on UPI) का उद्देश्य छोटे-मूल्य वाले लेन-देह (Small Ticket Transactions) के लिए तत्काल क्रेडिट सुविधा देना है।
यह मॉडल UPI के 49 करोड़ उपयोगकर्ताओं और 6.5 करोड़ QR-सक्षम व्यापारियों के मौजूदा नेटवर्क का उपयोग करेगा।
रिपोर्ट में अनुमान है कि 2030 तक CLOU और ऐसे क्रेडिट-लिंक्ड प्रोडक्ट्स से उतना ही राजस्व उत्पन्न होगा जितना होम और ऑटो लोन से होता है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का संबोधन
फेस्टिवल के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि —
UPI अब हर महीने लगभग 20 अरब ट्रांजैक्शन कर रहा है, जिनकी कुल राशि ₹25 लाख करोड़ से अधिक है। यह पूरी दुनिया के रियल-टाइम डिजिटल ट्रांजैक्शन्स का लगभग 50% हिस्सा है।
उन्होंने यह भी कहा कि भारत अब “टेक्नोलॉजी के सबसे समावेशी समाजों में से एक” बन चुका है, जहां हर नागरिक तक डिजिटल सुविधा पहुँच रही है।
CLOU से क्या बदलेगा?
अब खरीदारी के समय तुरंत क्रेडिट मिल सकेगा — पिन या कार्ड की जरूरत नहीं।
छोटे व्यापारियों को बिक्री बढ़ाने का मौका मिलेगा।
ग्राहकों के लिए आसान ऋण सुविधा, बिना लंबी प्रक्रिया के।
UPI नेटवर्क का विस्तार और डिजिटल पेमेंट्स में नई ऊर्जा।
AI-आधारित जोखिम मूल्यांकन से लोन प्रक्रिया और सुरक्षित बनेगी।
Pine Labs की IPO योजना
Pine Labs ने हाल ही में SEBI (भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड) से अपने IPO (Initial Public Offering) की मंज़ूरी प्राप्त की है।
कंपनी अक्टूबर 2025 में 700 मिलियन डॉलर जुटाने की योजना बना रही है, ताकि वह भारत और एशिया के डिजिटल फिनटेक बाजार में और विस्तार कर सके।
Credit Line on UPI” भारत के डिजिटल वित्तीय ढांचे में अगला बड़ा परिवर्तन साबित हो सकता है।
यह न केवल ग्राहकों को तत्काल क्रेडिट सुविधा देगा, बल्कि छोटे व्यवसायों को भी विकास का नया अवसर प्रदान करेगा।
AI, बायोमेट्रिक और UPI का यह संगम भारत को वैश्विक फिनटेक लीडर बनाने की दिशा में एक मजबूत कदम है।
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